भोपाल। बागसेवनिया इलाके में रहने वाली 6 से 14 साल की चार बच्चियां गुरुवार की शाम को एक साथ लापता हो गई थीं। आसपास तलाश करने के बाद भी जब भी जब बच्चियों का कुछ पता नहीं चला तो परिजनों ने थाने पहुंचकर उनके अपहरण की रिपोर्ट दर्ज कराई। मामले की संवेदनशीलता को देखते हुए पुलिस तुरंत सक्रिय हुई और रेलवे स्टेशन और बस स्टैंडों पर छानबीन के साथ ही जीआरपी और आरपीएफ को बच्चियों के लापता होने की सूचना दी। रेलवे स्टेशनों पर लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज खंगालने के बाद शुक्रवार को चारों बच्चियों को इटारसी जंक्शन से जीआरपी द्वारा सकुशल बरामद कर लिया गया। चारों में सबसे बड़ी बच्ची इसके पहले भी घर से गायब हो चुकी है, जिसे पिछले महीने दिल्ली से बरामद किया गया था। उसी के बहकावे में आकर बाकी तीनों बच्चियां उसके साथ चली गई थी।
मिसरोद एसीपी रजनीश कश्यप कौल ने बताया कि बागसेवनिया में रहने वाली चार बच्चियां गुरुवार दोपहर बाद अपने-अपने घरों से गायब हो गई थी। इनमें 6 और 10 साल की दो बच्चियां सगी बहनें हैं। देर रात बच्चियों के स्वजनों ने थाने पहुंचकर सूचना दी। पुलिस ने चारों की गुमशुदगी के साथ ही उनके अपहरण की रिपोर्ट दर्ज कर अलग-अलग टीमों को बच्चियों की तलाश में लगाया गया। इसके साथ ही इंटरनेट मीडिया के अलग-अलग माध्यम पर जानकारी बहुप्रसारित करने के साथ ही आल इंडिया जीआरपी और आरपीएफ को सूचना दी गई। इसी बीच चारों बच्चियों को इटारसी जंक्शन पर जीटी एक्सप्रेस से सकुशल उतार लिया गया।
पहले भी घर से भाग चुकी है सबसे बड़ी बच्ची
एसीपी ने बताया कि सबसे बड़ी 14 साल की बच्ची के माता-पिता नहीं हैं। वह अपनी बुजुर्ग दादी के पास रहती है। अक्टूबर महीने में बच्ची घर से बगैर बताए गायब हो गई थी, जिसे करीब एक महीने बाद दिल्ली से बरामद किया गया था। इधर सगी बहनें गुरुवार को स्कूल जाने के लिए घर से निकली थी, लेकिन स्कूल नहीं पहुंची। उन्हें डर था कि परिजन स्कूल नहीं जाने पर उन्हें फटकार लगाएंगे, इसलिए वह मोहल्ले में घूम रही थीं। इसी बीच बड़ी बच्ची से मुलाकात हुई तो उसने बोला कि अपनी बुआ के यहां चलते हैं। इसके साथ ही बारह साल की एक बच्ची भी उनके साथ हो गई।